ग्रेटर नोएडा का धूममानिकपुर अंडरबाईपास का रूट डायवर्जन अब लोगों की मुसीबतों का सबब बन गया है। आए दिन हो रहे हादसों से लोग डरे हुए हैं। धूममानिकपुर अंडरबाईपास, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग एनएच-91 के चौड़ीकरण के दौरान किया गया रूट डायवर्ट दुर्घटनाओं का गढ़ बन गया है। यह समस्या इतनी विकट हो गई है कि अब स्थानीय नागरिकों और वकीलों ने इस पर कार्यवाही की मांग की है। ओमवीर सिंह आर्य एडवोकेट, राष्ट्रीय अध्यक्ष जन आंदोलन सामाजिक संगठन और सतवीर सिंह नागर, दोनों ही प्रतिष्ठित अधिवक्ता, ने एक प्रार्थना पत्र के माध्यम से उप जिलाधिकारी, दादरी, गौतमबुद्धनगर को इस मुद्दे पर ध्यान आकर्षित करने की कोशिश की है। 15 जून, 2024 को दिए गए प्रार्थना पत्र में उन्होंने धूममानिकपुर अंडरबाईपास की स्थिति सुधारने की अपील की है।
व्यवस्थाओं की कमी से बना हादसों का केन्द्र
एनएच-91 का चौड़ीकरण, जो कि एक महत्वपूर्ण विकास परियोजना है। इस दौरान धूममानिकपुर अंडरबाईपास का रूट डायवर्ट किया गया। इस डायवर्जन ने यातायात को अस्त-व्यस्त कर दिया है और दुर्घटनाओं की संख्या में भारी वृद्धि हुई है। सड़क की सुरक्षा संबंधी व्यवस्थाओं में कमी के कारण यह स्थान अब हादसों का केन्द्र बन गया है। उप जिलाधिकारी, दादरी के परियोजना निदेशक, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण, गाजियाबाद को एक पत्र के माध्यम से इस समस्या का समाधान करने के निर्देश दिए हैं। उप जिलाधिकारी ने 15 जून, 2024 के प्रार्थना पत्र को संलग्न करते हुए प्राधिकरण को आवश्यक कार्यवाही करने का आग्रह किया है। साथ ही पत्र में यह स्पष्ट किया गया है कि इस प्रकरण में नियमानुसार आवश्यक कार्यवाही करने के लिए संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया जाए।
लोगों ने की प्रशासन से जल्द कार्रवाई की अपील
वहीं स्थानीय नागरिकों का कहना है कि धूममानिकपुर अंडरबाईपास पर दुर्घटनाओं की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है। यात्रियों को सुरक्षित मार्ग प्रदान करने के लिए इस समस्या का शीघ्र समाधान किया जाना आवश्यक है। ओमवीर सिंह आर्य एडवोकेट और सतवीर सिंह नागर ने प्रशासन से अपील की है कि इस मुद्दे को गंभीरता से लिया जाए और जल्द से जल्द समाधान निकाला जाए। उनका कहना है कि यदि इस पर तत्काल ध्यान नहीं दिया गया, तो स्थिति और भी गंभीर हो सकती है। धूममानिकपुर अंडरबाईपास की समस्या को हल करने के लिए प्रशासन और भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण को मिलकर ठोस कदम उठाने होंगे। इस क्षेत्र में दुर्घटनाओं को रोकने और यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए तत्काल कार्यवाही की आवश्यकता है। उम्मीद है कि प्रशासनिक अधिकारी इस पर शीघ्र कदम उठाएंगे और जनता को राहत प्रदान करेंगे।