उत्तर प्रदेश में मदरसों की जांच को लेकर बड़ी खबर सामने आई है। यूपी में मौजूदा समय में करीब 4000 मदरसे संचालित हो रहे हैं, जिनकी जांच अब यूपी एटीएम यानी कि उत्तर प्रदेश एंटी टेररिस्ट स्क्वाड करने वाली है।
गैर मान्यता प्राप्त मदरसों की होगी जांच
उत्तर प्रदेश में मदरसों की जांच की बात सामने आई है। जिसका मुख्य कारण गैर मान्यता प्राप्त मदरसों को बताया जा रहा है। प्राप्त जानकारी के मुताबिक, अकेले बहराइच में 700 के करीब मदरसे संचालित हो रहे है। जिसमे 492 मदरसे गैर मान्यता प्राप्त है। योगी सरकार ने यूपी के सभी मदरसों के सत्यापन को लेकर आदेश जारी किए थे। जब मदरसों का सत्यापन हुआ, तो चौकाने वाले तथ्य सामने आये है।
चौंकाने वाले खुलासों को देख हैरान रह गई सरकार!
जब यूपी सरकार की तरफ से संचालित हो रहे मदरसों की जांच की गई, तो चौंकाने वाले खुलासे हुए। बताया गया है कि बड़े पैमाने पर मदरसों के संचालन के लिए फंडिंग हो रही है।हजारों मदरसे कागज़ों पर कुछ है और धरातल पर कुछ है। जब संचालकों से मदरसों में मिले फंड को लेकर जानकारी मांगी गई तो मदरसों के संचालक जानकारी नही दे पाए है। अब फंडिंग की जांच यूपी एटीएस को सौप दी गई। कुछ ऐसे मदरसे है जिन्हें 30 सालों से लगाकर फंडिंग हो रही है ताकि मुस्लिम छात्र छात्राओं को तालीम दी जा सके। लेकिन मदरसों के कागज़ों पर छात्र छात्राओं की संख्या दर्ज है। जमीनी हकीकत अलग ही दिखाई पड़ी।
मदरसों को मिल रहे फंड की भी होगी जांच
उत्तर प्रदेश सरकार के निर्देश के बाद यूपी एटीएस यूपी में संचालित मदरसों की जांच करेगी। नेपाल सीमा से सटे जिले बहराइच गोंडा में बड़े पैमाने पर मदरसों का संचालन होता है।गोंडा जिले में 300 के करीब गैर मान्यता प्राप्त मदरसे चल रहे है। जिसमें 19 मदरसों को बन्द करने के लिए अल्पसंख्यक कल्याण बोर्ड व सरकार को पत्र भेजा जा चुका है। जनपद बहराइच में 792 के करीब मदरसे है। बहराइच में मदरसों की संख्या नेपाल सीमा पर सबसे ज्यादा है। अल्पसंख्यक बोर्ड के पास महज 290 मान्यता प्राप्त व 11 सहायता प्राप्त मदरसों का ही ब्यौरा उपलब्ध है। लेकिन मदरसों की संख्या 792 है।यूपी सरकार मदरसों का आधुनिकीकरण करना चाहती है।इसलिए मान्यता प्राप्त व गैर मान्यता प्राप्त मदरसों की सही जानकारी के साथ मदरसों को मिल रहे फंड का इस्तेमाल कहा हो रहा इसकी जानकारी के लिए यूपी एटीएस को जिम्मेदारी सौंपी है।
गलत इस्तेमाल पर होगा एक्शन
इसी के साथ ही ये बात भी सामने आई है कि अगर मदरसों का इस्तेमाल गलत काम जैसे कि नकली नोट छापने के लिए हो रहा होगा, तब एक्शन भी लिया जाएगा।