महाकुंभ 2025 का काउंटडाउन शुरू हो गया है. इसकी शुरुआत कल यानी 13 जनवरी से होने है. इस दौरान असामाजिक तत्वों के मंसूबों को नाकाम करने के लिए योगी सरकार की ओर से खास इंतजामात किए गए हैं. महाकुंभ को लेकर महज भारत ही नहीं बल्कि पड़ोसी देश नेपाल में भी लोगों का उत्साह चरम सीमा पर है, महराजगंज जिले के सोनौली बॉर्डर से हर दिन भारी संख्या में नेपाली श्रद्धालु गंगा, यमुना और सरस्वती के संगम में डुबकी लगाने को प्रयागराज के लिए रवाना हो रहे हैं.
प्रशासन ने किए कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के इंतजाम
महाकुंभ मेले के दौरान श्रद्धालुओं की भारी भीड़ के मद्देनजर सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है. शहर में 278 प्वॉइंट पर दो हजार सुरक्षाकर्मियों की तैनाती की गई है. शहर के प्रमुख प्रवेश गेटों और 12 मुख्य स्थानों पर सुरक्षा बैरिकेड्स लगा दिए गए हैं. इसके अलावा निगरानी को लेकर ड्रोन और सीसीटीवी कैमरे भी लगाए गए हैं. महाकुंभ में आने वाले लाखों श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा ना हो इसका भी विशेष ध्यान रखा जा रहा है. इसके लिए प्रशासन ने यातायात प्रबंधन और आपातकालीन सेवाओं के लिए विशेष योजना तैयार की है.
4 दिनों तक वाहनों की एंट्री पर लगी रोक
महाकुंभ मेले की सुरक्षा को लेकर पुलिस संदिग्ध व्यक्तियों और वाहनों पर भी पैनी नजर बनाए हुए है. पंटून पुलों और मुख्य मार्गों पर चेकिंग अभियान भी तेज कर दिया गया है. इसके अलावा प्रयागराज महाकुंभ में अब से चार दिनों तक वाहनों को प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी. इसके साथ ही ऑटो और ई-रिक्शा का किराया 10 रुपये प्रति व्यक्ति प्रति किलोमीटर तय कर दिया गया है.
श्रद्धालुओं के लिए अभेद्य सुरक्षा घेरा तैयार- डीजीपी प्रशांत कुमार
वहीं डीजीपी प्रशांत कुमार ने कहा है कि महाकुंभ के लिए अभेद्य सुरक्षा घेरा तैयार किया गया है. श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए कड़े सुरक्षा बंदोबस्त किए गए हैं. प्रयागराज को जोड़ने वाले 7 मार्गों पर सुरक्षा घेरा बनाया गया है. वहीं प्रयागराज में प्रवेश के लिए 7 मुख्य मार्ग हैं, बस और निजी वाहनों से आने वाले लोग इन मार्गों से संगम पहुंच सकेंगे. यहां पर कुल 6 शाही स्नान होते हैं. जिनमें मकर संक्रांति से लेकर बसंत पंचमी जैसे पर्व शामिल हैं.
संगम जाने वाले रास्ते पूरी तरह किए गए सील
बता दें कि श्रद्धालुओं की बढ़ती भीड़ को देखते हुए संगम की ओर जाने वाले रास्तों को पूरी तरह सील कर दिया गया है. इसके साथ ही जिन लोगों के पास वाहन हैं, उन्हें ही अंदर जाने दिया जाएगा. जबकि बाकी अन्य वाहनों को मेला क्षेत्र से बाहर निकाला जा रहा है. श्रद्धालुओं का संगम की ओर बढ़ना लगातार जारी है.