नोएडा प्राधिकरण का बड़ा फैसला, इनके जमीन आवंटन होंगे रद्द
- Nownoida editor2
- 04 Oct, 2025
Noida: नोएडा प्राधिकरण ने 12 साल से ज़्यादा समय से खाली पड़े आवासीय भूखंडों के आवंटन को रद्द करने के लिए एक नए कड़े कदम को मंज़ूरी दे दी है. अधिकारियों ने इसे मालिकों द्वारा नियमों का पालन न करने के खिलाफ अब तक के सबसे सख्त कदमों में से एक बताया है.
छह महीने की मोहलत
अधिकारियों ने बताया कि जो भी आवंटी 12 साल की समय सीमा के भीतर अपने भूखंड पर घर नहीं बनाएगा, उसका मालिकाना हक ख़त्म हो जाएगा. जो आवंटी अभी निर्माण कार्य में हैं, उन्हें काम पूरा करने और पूर्णता प्रमाण पत्र प्राप्त करने के लिए छह महीने की मोहलत दी जाएगी.
बोर्ड की बैठक में फैसला
उत्तर प्रदेश अवसंरचना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त दीपक कुमार की अध्यक्षता में प्राधिकरण की 219वीं बोर्ड बैठक में यह फैसला लिया गया. रिपोर्ट में कहा गया है कि इस कदम का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि आवास के लिए निर्धारित भूमि का वास्तव में उसी उद्देश्य के लिए उपयोग किया जाए और उसे सट्टेबाजी के लिए बेकार न रखा जाए.
12 साल की समय सीमा
नोएडा प्राधिकरण के सीईओ लोकेश एम ने कहा कि बोर्ड ने उन आवंटनों को रद्द करने का फैसला किया है जहां 12 साल बाद भी मकान नहीं बने हैं. खाली प्लॉट न केवल आस-पड़ोस के लोगों की आंखों में खटकते हैं, बल्कि नियमों का उल्लंघन भी है. वर्तमान में, 17 आवासीय प्लॉट बिना पूर्णता प्रमाण पत्र के 12 साल की समय सीमा पार कर चुके हैं. अधिकारियों ने बताया कि इनमें से नौ प्लॉटों पर कोई निर्माण कार्य नहीं हुआ है और जल्द ही इन्हें रद्द किया जा सकता है. प्राधिकरण ऐसे आवंटियों को एक साल से ज़्यादा समय से चेतावनी जारी कर रहा था.
समस्या और भी गंभीर
नोएडा में आवंटित लगभग 30,000 व्यक्तिगत भूखंडों में से लगभग 1,500 में आंशिक निर्माण ही हुआ है, अक्सर एक सांकेतिक कमरा, शौचालय, रसोई और उपयोगिता कनेक्शनों के साथ चारदीवारी, जो पूर्णता प्रमाण पत्र प्राप्त करने के लिए पर्याप्त है. बाद में, जब बाजार की स्थिति सुधरती है, तो इन भूखंडों को ऊंची कीमतों पर फिर से बेच दिया जाता है.
भवन निर्माण नियमों के अनुसार, बुनियादी सुविधाओं का निर्माण हो जाने के बाद, प्राधिकरण पूर्णता प्रमाण पत्र जारी करता है. कई मालिक इस खामी का फायदा उठाकर भूखंडों को घरों में विकसित करने के बजाय उन्हें सट्टा निवेश के रूप में देखते हैं. सख्त प्रवर्तन का उद्देश्य यह भी सुनिश्चित करना है कि आवासीय भूमि शहर की मांग के अनुरूप बनी रहे. एक अन्य अधिकारी ने बताया कि बेकार पड़े भूखंड आवंटन के उद्देश्य को विफल करते हैं, जो शहरी आवास की जरूरतों को पूरा करना है.
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