राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने आज संसद के दोनों सदनों के संयुक्त सत्र को संबोधित किया है। उन्होंने कहा है कि सुधार, प्रदर्शन और परिवर्तन के संकल्प ने भारत को दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था बना दिया है। 10 सालों में भारत 11वें स्थान से उठकर 5वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गया है। उन्होंने नीट परीक्षा से लेकर 2036 में भारत ओलंपिक की मेजबानी करेगा, तक कई विषयों पर संबोधन किया।

नीट परीक्षा पर क्या बोलीं राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू?

https://nownoida.com/wp-content/uploads/2024/06/WhatsApp-Video-2024-06-27-at-12.28.46-PM.mp4

अपने अभिभाषण के दौरान राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जब शिक्षा के मोर्चे पर सरकार द्वारा उठाए गए कदमों का जिक्र कर रही थीं, उस समय विपक्ष के कुछ सदस्य ने नीट का नारा लगा रहे थे। जिसपर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि यदि किसी कारण से परीक्षा में बाधा उत्पन्न होती है, तो यह उचित नहीं है। सरकारी भर्तियों और परीक्षाओं में शुचिता और पारदर्शिता बहुत जरूरी है। सरकार का ये निरंतर प्रयास है कि देश के युवाओं को अपनी प्रतिभा दिखाने का उचित अवसर मिले। सरकारी भर्ती हो या फिर परीक्षाएं, किसी भी कारण से इनमें रुकावट आए, ये उचित नहीं है। इनमें शुचिता और पारदर्शिता बहुत ज़रूरी है।

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने पेपरलीक का जिक्र करते हुए आगे कहा, “हाल ही में कुछ परीक्षाओं में हुई पेपर लीक की घटनाओं की निष्पक्ष जांच और दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दिलवाने के लिए मेरी सरकार प्रतिबद्ध है। इससे पहले भी हमने देखा है कि कई राज्यों में पेपर-लीक की घटनाएं होती रही हैं। इस पर दलीय राजनीति से ऊपर उठकर देशव्यापी ठोस उपाय करने की ज़रूरत है। संसद ने भी परीक्षा में होने वाली गड़बड़ियों के विरुद्ध एक सख्त कानून बनाया है। मेरी सरकार परीक्षाओं से जुड़ी संस्थाओं, उनके कामकाज के तरीके, परीक्षा प्रक्रिया, सभी में बड़े सुधार करने की दिशा में काम कर रही है”।

Share.
Leave A Reply

Exit mobile version