ई-बसों के लिए चार्जिंग स्टेशन, वाशिंग लाइन, शेड बनाने की प्रक्रिया तेज, इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलप करने के लिए सर्वे शुरू, 10 दिनों सौंपेगी रिपोर्ट
- Sajid Ali
- 19 Jul, 2025
Noida: नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना प्राधिकरण में क्षेत्र में चलने वाली 500 ई-बसों के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार करने की प्रक्रिया शुरू हो गई है. इसके लिए सर्वे का काम शुरू हो गया है. सात कंपनियों डिम्स, यूनएमटीसी, क्रिजिम, सीआईआरटी, राइट्स, सीआरआर आई, आईआईटी दिल्ली को पत्र लिखा है. जिसमें से डिस्म कंपनी ने सर्वे का काम शुरू भी कर दिया है.
डिम्स ने शुरू किया सर्वे
500 ई बस के लिए चार्जिंग स्टेशन,
सर्विस स्टेशन, शेड के साथ-साथ वाशिंग की व्यवस्था की जाएगी.
इसके लिए सेक्टर- 82 और 90 के टर्मिनल को चुना गया है. इन दोनों जगहों पर आधारभूत
संरचना तैयार करना है. प्राधिकरण ने सात कंपनियों को पत्र लिखा है, जिसमें से डिम्स कंपनी के स्टाफ दोनों टर्मिनल पर पहुंचे और काम शुरू
किया. 10 दिनों के अंदर रिपोर्ट सौंप देगी. सर्वे का काम पूरा होने के बाद
प्रेजेंटेशन दिया जाएगा, जिसके बाद किसी एक कंपनी का चयन
होगा. जो इन्फ्रास्टकचर तैयारी करने में गाइड करेगी. फिर टेंडर जारी किया जाएगा.
नाम के लिए
भेजे जा चुके हैं प्रस्ताव
बता दें कि कुछ दिन पहले प्रशासन को तीन नाम को लेकर प्रस्ताव भेजे गए थे. ई बसों के परिचालन के लिए स्पेशल पर्पज व्हीकल का गठन किया जा रहा है. कंपनी का निर्माण किया जा रहा है. इसके नाम को लेकर प्रपोजल भेजा गया था. जिन तीन नाम सुझाए गए हैं उनमें एनजीवाई अर्बन मोबिलिटी सर्विस, जीबीएन इजी राइट सर्विस और जीबीएन ग्रीन ट्रांसपोर्ट शामिल हैं. नाम सरकार की तरफ से तय किए जाएंगे.
प्राधिकरण
के होंगे इतने शेयर
तीनों प्राधिकरण क्षेत्र में 500 सिटी ई बसें चलाई जाने की प्रक्रिया शुरू हो गई है. 25 रूटों पर पूरे जिले ये बसें चलेंगी, जिसमें नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट भी शामिल है. 500 बसों में नोएडा प्राधिकरण में 300, ग्रेटर नोएडा और यमुना प्राधिकरण क्षेत्र में 100-100 बसें चलेंगी. तीनों प्राधिकरण में बसों के संचालन को सुनिश्चित करना भी एसपीवी करेगा. एसपीवी में नोएडा प्राधिकरण की- 48 प्रतिशत और ग्रेटर नोएडा-यमुना प्राधिकरण के 26-26 प्रतिशत इक्विटी योगदान के साथ होगा.
25 रूटों
पर चलेंगी बसें
पिछले दिनों इसके लिए लखनऊ में महत्वपूर्ण बैठक हुई थी. इसी बैठक में एसपीवी और अन्य मुद्दों पर चर्चा हुई. सीईओ ने कहा कि एसपीवी के गठन के बाद इसकी जानकारी शासन को दी जाएगी. 500 बसों में से 250-250 बसें 12 मीटर और 9 मीटर स्टैंडर्ड फ्लोर की ई बसें होंगी. ये बसें 25 रूटों पर चलेंगी, जिसमें नोएडा में 13 रूट, ग्रेटर नोएडा में 9 रूट और यमुना एक्सप्रेसवे क्षेत्र में दो रूट पर शामिल हैं. सुबह साढ़े छह बजे से रात 11 बजे तक इन रूटों पर बस चलेंगे. इन रूटों पर 10 मिनट के अंतराल पर बसें चलेंगी.
बनाना होगा
बस डिपो
फिलहाल
बसों के संचालन की शुरुआत सेक्टर-82 और सेक्टर- 90 के बस टर्मिनल से होगी. नोएडा
प्राधिकरण बसों के संचालन के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलप करने का काम करेगा. इसके
तहत रख रखाव और चार्जिंग की भी व्यवस्था करनी होगी. फास्ट चार्जर, प्लांट, इक्विपमेंट और डिपो
मेंटेनेंस की व्यवस्था करनी है. पूरा प्रोजेक्ट 675 करोड़ का है. एग्रीमेंट होने
के एक साल के अंदर ग्रेटर नोएडा और यमुना प्राधिकरण को भी अपने क्षेत्र में एक-एक
डिपो बनाना होगा, जहां से 12 मीटर और 9 मीटर
लंबी बसों का संचालन हो सके.
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