संभल में हिंसा में जान गंवाने वालों से समाजवादी पार्टी के प्रतिनिधिमंडल ने सोमवार को मुलाकात की. इस प्रतिनिधिमंडल की अगुवाई नेता विपक्ष माता प्रसाद पांडे ने की. इस दौरान प्रतिनिधिमंडल ने पीड़ितों के परिजनों के 5-5 लाख रुपये का चेक आर्थिक मदद के रूप में दिया. प्रतिनिधिमंडल में कैराना की सांसद और सपा नेता इकरा हसन भी मौजूद थीं. वहीं संभल में सुरक्षा व्यवस्था कायम रखने के मकसद से जामा मस्जिद के के सामने खाली पड़े जमीन पर पुलिस चौकी बनाने के मुद्दे को लेकर सांसद इकरा हसन ने यूपी सरकार को आड़े हाथों ले लिया.

अब हम लोकतंत्र में हैं- सपा सांसद
इस दौरान सांसद इकरा हसन ने कहा कि मुझे लगता है कि इन सब चीजों की कोई जरूरत नहीं है. इसका कारण है कि हमारे देश के कानून का सभी को पालन करना है. प्लेसेज ऑफ वर्शिप एक्ट इसीलिए तो लाया गया था क्योंकि जो भी राजा बनता था वो व्यवस्था अपने हिसाब से बदल दिया करता था, लेकिन अब हम लोकतंत्र में हैं. अब यहां ना तो किसी का राज है और ना ही किसी की तानाशाही.

हमें संविधान के हिसाब से चलना चाहिए- इकरा
इकरा ने आगे कहा कि अब जो नियम कानून किताब में लिखे हैं. हमें उसी हिसाब से चलना होगा. संविधान के हिसाब से चलना चाहिए. संविधान में प्लेसेज ऑफ वर्शिप एक्ट है. 1947 में जो कुछ भी जैसा था, मंदिर या मस्जिद वो उसी स्थिति में रहना चाहिए. प्लेसेज ऑफ वर्शिप एक्ट तो यही कहता है. सरकार की तरफ से लगातार धमकियां दी जा रही है. विपक्ष के नेताओं पर झूठी कार्रवाई की जा रही हैं. यही इनकी रणनीति रही है.

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