30 पुरानी और जर्जर बिल्डिंग को तोड़कर फिर से बनाने की तैयारी, नोएडा प्राधिकरण ने इस पॉलिसी को दी मंजूरी

- Nownoida editor2
- 21 Jun, 2025
Noida: नोएडा में जर्जर और 30 साल पुरानी बिल्डिंग को तोड़कर फिर
से बनाया जाएगा. प्राधिकरण ने इसे लेकर नई पॉलिसी लाई है. इस पॉलिसी से लगभग दस
लाख लोगों को फायदा होगा. इस पॉलिसी हाई राइज और लो राइज बिल्डिंग सभी पर लागू
होंगी. नोएडा प्राधिकरण ने 218 वीं बोर्ड की बैठक में पुनर्विकास नीति को मंजूरी
दी है. इसमें थोड़े से बदलाव के बाद इसे लागू कर दिया जाएगा.
प्राधिकरण का कहना है कि यहां पर 1980 से बड़े-बड़े बिल्डिंग के निर्माण का
काम शुरू हुआ. ऐसे में कई बिल्डिंग काफी पुरानी हो चुकी है. वहीं, कई बहुमंजिला इमारतों को खतरनाक भी घोषित
कर दिया गया है. प्राधिकरण ने बिल्डरों को जमीन लीज पर दी फिर उन्होंने बड़े-बड़े
अपार्टमेंट बनाकर लोगों को हाथों उसे बेचा. वहीं, प्राधिकरण
की ओर से भी लो राइज ग्रुप हाउसिंग स्कीम के तहत गरीबों को घर बनाकर लीज पर दिए गए
हैं.
जर्जर और पुरानी बिल्डिंग पर नीति लागू
ऐसे में कई बिल्डिंग पुराने और जर्जर हो चुके हैं. ये बिल्डिंग अधिक बारिश या
फिर कम तीव्रता वाले भूकंप में प्रभावित हो सकते हैं. इसलिए इन इमारतों को तोड़कर
फिर से बनाने का फैसला किया गया है. इसी को ध्यान में रखकर प्राधिकरण की ओर से
पुनर्वास नीति लाई गई है. इसके तहत 100 ग्रुप हाउसिंग और 500 लो राइज सोसाइटियों
को तोड़कर फिर से बनाया जाएगा.
70 प्रतिशत लोगों की मंजूरी जरूरी
10 लाख लोगों को इसका फायदा ये होगा कि बिल्डिंग फिर से नया बन जाएगा, जो देखने में सुंदर लगेगा और इससे फ्लोर
एरिया रेशियो भी बढ़ जाएगा. यह नीति उन्हीं पर लागू होगी जो तीस साल पुरानी होगी
या फिर उसे असुरक्षित घोषित कर दिया गया हो. वहीं, इसके लिए
सोसायटी के कम से कम 70 प्रतिशत लोगों की सहमति भी जरूरी है. डेवलपर को इसके लिए
फिर से नक्शा पास कराना होगा. पुराना नक्शा मान्य नहीं होगा.
ये सुविधाएं कंपलसरी
पुनर्वास नीति के तहत बनने वाले बिल्डिंग में लिफ्ट और पार्किंग की व्यवस्था
करनी होगी. सोसायटी में सीसीटीवी लगाना होगा. वहीं, ग्रीन एरिया और ई-व्हीकल चार्जिंग की भी व्यवस्था करनी होगी.
फायर सेफ्टी के साथ-साथ रेन वाटर हार्वेस्टिंग की भी व्यवस्था करनी होगी.
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