Waqf संपत्तियों पर नया कानून: सरकार के फैसले से विपक्ष नाराज़, यूपी में बोर्ड के पास कितनी जमीनें?

- Rishabh Chhabra
- 01 Apr, 2025
नई दिल्ली। केंद्र सरकार द्वारा वक्फ बोर्ड की शक्तियों को सीमित करने के लिए नया विधेयक लाने की तैयारी की जा रही है। इस पर सियासी विवाद भी शुरू हो गया है। एआईएमआईएम के प्रमुख और हैदराबाद के सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि यह कदम वक्फ बोर्ड की स्वायत्तता खत्म करने की कोशिश है। उन्होंने आरोप लगाया कि बीजेपी सरकार शुरू से ही वक्फ संपत्तियों के खिलाफ रही है।
केंद्र सरकार का नया प्रस्ताव
कैबिनेट की बैठक में वक्फ से जुड़े कानूनों में करीब 40 तरह के संशोधन करने का निर्णय लिया गया है। माना जा रहा है कि सोमवार को संसद में संशोधन विधेयक पेश किया जा सकता है। इससे पहले ही इस मुद्दे पर विवाद तेज हो गया है। कई मुस्लिम संगठनों ने इस प्रस्ताव का विरोध किया है। ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने वक्फ एक्ट 2013 में किसी भी बदलाव का विरोध किया है। उनका कहना है कि किसी भी संशोधन से वक्फ संपत्तियों की प्रकृति नहीं बदलनी चाहिए और न ही सरकार को इन्हें अधिग्रहित करने का अधिकार दिया जाना चाहिए।
क्या होता है वक्फ?
वक्फ का अर्थ है ‘अल्लाह के नाम’, यानी ऐसी संपत्तियाँ जो किसी व्यक्ति या संस्था की नहीं होतीं, बल्कि मुस्लिम समाज से संबंधित होती हैं। इनमें मस्जिदें, मदरसे, कब्रिस्तान, ईदगाह, मजार और अन्य धार्मिक या सार्वजनिक स्थल शामिल होते हैं। वक्फ संपत्तियों के संरक्षण और सही प्रबंधन के लिए वक्फ बोर्ड बनाए गए हैं।
वक्फ संपत्तियों के प्रकार
वक्फ अलल औलाद: ऐसी संपत्तियाँ जो किसी व्यक्ति ने मुस्लिम समाज के कल्याण के लिए दान दी हों, लेकिन उनका प्रबंधन दानदाता के परिवार के पास रहता है। परिवार के सदस्य इन संपत्तियों को बेच नहीं सकते लेकिन उनके इस्तेमाल का निर्णय ले सकते हैं।
वक्फ अलल खैर: इन संपत्तियों का कोई निजी मालिक नहीं होता। वक्फ बोर्ड इनके प्रबंधन के लिए किसी को मुतवल्ली (प्रबंधक) नियुक्त करता है, जो इन्हें समाज कल्याण के लिए उपयोग में लाता है। मुतवल्ली को संपत्ति बेचने का अधिकार नहीं होता।
यूपी में वक्फ संपत्तियों की स्थिति
उत्तर प्रदेश में वक्फ संपत्तियों की संख्या काफी अधिक है।
सुन्नी वक्फ बोर्ड के पास 1,23,000 संपत्तियाँ हैं।
शिया वक्फ बोर्ड के पास 3,102 संपत्तियाँ हैं।
इन संपत्तियों का उपयोग धार्मिक और सामाजिक कार्यों के लिए किया जाता है। हालांकि, समय-समय पर इन संपत्तियों के गलत उपयोग और अतिक्रमण की खबरें भी सामने आती रही हैं।
कानून में बदलाव को लेकर विरोध और समर्थन
वक्फ संपत्तियों से जुड़े कानूनों में प्रस्तावित संशोधनों को लेकर मुस्लिम समुदाय के बीच चिंता बढ़ गई है। कई संगठन इसे सरकार की ‘हस्तक्षेप नीति’ के रूप में देख रहे हैं, जबकि सरकार का कहना है कि यह बदलाव पारदर्शिता और सुशासन सुनिश्चित करने के लिए किए जा रहे हैं। आने वाले दिनों में संसद में इस विधेयक को लेकर गहमागहमी देखने को मिल सकती है।
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